अधिकांशत: यह देखा जाता है कि लोग थोड़े भी बीमार हुए या थक गये तो बिस्तर पकड़ लेते हैं इस तरह वे बीमारी को और न्योता देते हैं शारीरिक कष्ट के समय , बहुत ही मज़बूरी वश बिस्तर पर लेटना चाहिए , जहाँ तक संभव हो चलते - फिरते कुछ - न - कुछ काम करते रहना चाहिए l यदि कभी ऐसी नौबत आ जाये कि बिस्तर पर पड़े रहना जरुरी है तो उस समय भी श्रेष्ठ साहित्य का अध्ययन - मनन करना , मानसिक रूप से मन्त्र जप करना चाहिए l अपने कष्ट के समय को रो - खीज कर नहीं गंवाना चाहिए , प्रयास करके कोई हुनर सीखें , अतिरिक्त ज्ञान प्राप्त करें l ऐसे सकारात्मक कार्य करने से धीरे - धीरे स्वास्थ्य भी अच्छा ही जाता है और सफलता का मार्ग प्रशस्त होता है l
No comments:
Post a Comment